बनों शुद्ध शाकाहारी प्रकृति से हमारा प्रिय नाता जीने का आधार दिया है हमें रंग - बिरंगे अमिय रस हैं प्यारे वृक्षों पर फलते- फूलते रहें फल न्यारे - न्यारे नहीं हम प्राण रहित जीव मांसाहारी .. हम हैं शुद्ध शाकाहारी फलती फूलती समृद्ध रहे वसुंधरा हमारी प्रकृति ने हमें उपहार दिया है पौष्टिक तत्वों का भण्डार दिया है .. हमें फल तरकारी ही भाती रसास्वाद में अमृत सी साची गुणों की भरमार हरि भजिया पाती धरा भीतर फल अंकुर होते मीठे- मीठे फल अमिय सरीखे . अनाज की खेती समृद्धि की सूचक कनक ,रबि की फसलें स्वर्णिम धरा रजत सी शीतल .. मूंग ,चना में,प्रोटीन आपार मोटी दालें गुणों का भण्डार मार किसी को हम नहीं खाते प्रकृति प्रदत अमिय ही पाते विभिन्न गुणों से भरपूर रंगों में छिपे पौष्टिक रसायन शाक - फलों की अद्भुत अद्वितीय बातें अमिय पदार्थ हम जी भर पाते ...